Friday, December 19

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पुतिन के भारत दौरे से अमेरिका में बेचैनी, वॉशिंगटन ने जताई चिंता
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पुतिन के भारत दौरे से अमेरिका में बेचैनी, वॉशिंगटन ने जताई चिंता

वॉशिंगटन/नई दिल्ली: रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के इस महीने दिल्ली दौरे ने अमेरिका को चिंतित कर दिया है। अमेरिकी थिंक टैंक अटलांटिक काउंसिल के सीनियर फेलो माइकल कुगेलमैन ने कहा कि भारत और रूस के बीच बढ़ते करीबी संबंध को वॉशिंगटन सतर्कता के साथ देख रहा है। कुगेलमैन ने बताया कि पुतिन के दौरे के दौरान हुए रूस-भारत शिखर सम्मेलन और इसके साथ आए सैन्य और कमर्शियल सहयोग को अमेरिका इस तरह देख सकता है कि भारत यूक्रेन में शांति प्रक्रिया को प्रभावित कर सकते हैं। हालांकि उन्होंने यह भी कहा कि प्रधानमंत्री मोदी यूक्रेन के साथ भी संपर्क बनाए हुए हैं, जो भारत की न्यूट्रल नीति को दर्शाता है। कुगेलमैन ने अमेरिका की बेचैनी की वजह बताते हुए कहा कि दौरे का समय संवेदनशील है। क्वाड शिखर सम्मेलन टल गया, रूस के खिलाफ नए अमेरिकी प्रतिबंध लागू हुए और भारत ने पुतिन के दौरे से कुछ दिन पहले रूस से तेल खरीद...
अमेरिका का नया वीजा नियम: H-1B और H-4 आवेदकों को सोशल मीडिया सार्वजनिक करना अनिवार्य, भारतीयों में बढ़ी बेचैनी
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अमेरिका का नया वीजा नियम: H-1B और H-4 आवेदकों को सोशल मीडिया सार्वजनिक करना अनिवार्य, भारतीयों में बढ़ी बेचैनी

वॉशिंगटन/नई दिल्ली: अमेरिकी सरकार ने H-1B और H-4 वीजा आवेदकों के लिए नए नियम जारी किए हैं, जिसके तहत उन्हें अपने सोशल मीडिया अकाउंट सार्वजनिक करने होंगे। यह नियम 15 दिसंबर 2025 से लागू होगा और नए आवेदन के साथ-साथ वीजा नवीनीकरण (रीन्यू) पर भी लागू होगा। भारत में इससे चिंता का माहौल है, क्योंकि अमेरिका में H-1B वीजा धारकों में 70% और H-4 वीजा धारकों में 90% भारतीय हैं। इन लोगों की नौकरियां, पढ़ाई, निजी यात्रा और फैमिली प्लान प्रभावित हो सकते हैं। अमेरिकी विदेश विभाग के अनुसार, यह नियम पहले से चल रहे ऑनलाइन चेक को बढ़ाता है। इसके तहत कंसुलर अधिकारी आवेदकों के फेसबुक, इंस्टाग्राम, लिंक्डइन जैसे सोशल मीडिया अकाउंट्स पर पोस्ट और गतिविधियों की समीक्षा कर सकेंगे। एक्सपर्ट चेतावनी देते हैं कि यहां तक कि छोटी-मोटी पोस्ट, राजनीतिक विचार या प्रोफेशनल प्रोफाइल की गड़बड़ी भी वीजा रद्द होने का आधार...
राफेल F5 ने फिर दिखाया दम, लेकिन क्या भविष्य की लड़ाई झेल पाएगा? छठी पीढ़ी के स्टील्थ फाइटर्स के दौर में फ्रांसीसी सुपर जेट पर उठ रहे बड़े सवाल
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राफेल F5 ने फिर दिखाया दम, लेकिन क्या भविष्य की लड़ाई झेल पाएगा? छठी पीढ़ी के स्टील्थ फाइटर्स के दौर में फ्रांसीसी सुपर जेट पर उठ रहे बड़े सवाल

दुनिया तेजी से स्टील्थ, AI-इंटीग्रेशन और सेंसर-फ्यूज़्ड एयर वारफेयर की ओर बढ़ रही है। ऐसे समय में, फ्रांस द्वारा विकसित राफेल F5 को "सुपर राफेल" कहकर पेश किया जा रहा है, लेकिन सवाल यह है कि क्या यह विमान भविष्य के हवाई युद्ध की बदलती जरूरतों को पूरा कर पाएगा?विशेषज्ञों का कहना है कि राफेल F5 की सबसे बड़ी कमजोरी उसका पुराना एयरफ्रेम डिजाइन है—एक ऐसा ढांचा, जिसे स्टील्थ युग के लिए कभी बनाया ही नहीं गया था। क्या है राफेल F5 की सबसे बड़ी समस्या? भारत F3-R वैरिएंट ऑपरेट कर रहा है, जबकि फ्रांस F-4 का उत्पादन कर रहा है। इनसे आगे बढ़ते हुए राफेल F5 अपने टेस्ट में शानदार प्रदर्शन कर रहा है।इसमें हैं— एडवांस सेंसर हाई-एंड इलेक्ट्रॉनिक वॉरफेयर बेहतर नेटवर्किंग ज्यादा स्मार्ट हथियार प्रणाली लेकिन, स्टील्थ नहीं है।यही इसकी सबसे बड़ी कमजोरी है। F5 दुश्मन को जाम कर सकता है, धोखा...
कश्मीर में हिंसा, परमाणु धमकी और भारत विरोधी बयान… आखिर क्या है ‘मुनीर डॉक्ट्रिन’? कितना बड़ा खतरा बन रहे हैं पाकिस्तान के जिहादी फील्ड मार्शल!
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कश्मीर में हिंसा, परमाणु धमकी और भारत विरोधी बयान… आखिर क्या है ‘मुनीर डॉक्ट्रिन’? कितना बड़ा खतरा बन रहे हैं पाकिस्तान के जिहादी फील्ड मार्शल!

पाकिस्तान के सेना प्रमुख जनरल असीम मुनीर, जिन्हें हाल ही में देश का पहला चीफ ऑफ डिफेंस फोर्सेज (CDF) बनाया गया है, लगातार ऐसे बयान दे रहे हैं जो न सिर्फ भारत की सुरक्षा के लिए चुनौती बनते दिख रहे हैं, बल्कि क्षेत्रीय स्थिरता पर भी गंभीर सवाल खड़े करते हैं। कट्टरपंथी सोच और आक्रामक सैन्य दृष्टि के लिए पहचाने जाने वाले मुनीर ने CDF बनने के बाद भारत और अफगानिस्तान—दोनों को निशाने पर लिया है। विशेषज्ञ इसे ‘मुनीर डॉक्ट्रिन’ कह रहे हैं—एक ऐसी नीति जिसमें कश्मीर को केंद्र में रखकर इस्लामी राष्ट्रवाद, सैन्य आक्रामकता और परमाणु ब्लैकमेल की रणनीति शामिल है। भारत के खिलाफ उग्र तेवर—कश्मीर में हिंसा भड़काने का संकेत CDF बनने के बाद मुनीर ने कहा—"भारत किसी भ्रम में न रहे। मई के संघर्ष में हमने कड़ा जवाब दिया था… अगली बार जवाब और भी गंभीर होगा।" उनके भाषणों में खुलेआम यह संकेत मिलता है कि पा...
सऊदी, चीन और अमेरिका से रिश्ते बिगाड़ने का आरोपइमरान खान पर चलेगा देशद्रोह का मुकदमा? CDF असीम मुनीर ने शुरू की बड़ी कार्रवाई, PTI पर लग सकता है प्रतिबंध
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सऊदी, चीन और अमेरिका से रिश्ते बिगाड़ने का आरोपइमरान खान पर चलेगा देशद्रोह का मुकदमा? CDF असीम मुनीर ने शुरू की बड़ी कार्रवाई, PTI पर लग सकता है प्रतिबंध

इस्लामाबाद/नई दिल्ली।पाकिस्तान की राजनीति एक बार फिर बड़े भूचाल से गुजर रही है। चीफ ऑफ डिफेंस फोर्सेस (CDF) असीम मुनीर ने इमरान खान के खिलाफ अब तक की सबसे बड़ी कार्रवाई का संकेत दे दिया है। सरकारी और सैन्य सूत्रों के मुताबिक, इमरान खान पर देशद्रोह का मुकदमा दर्ज करने और उनकी पार्टी पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (PTI) को प्रतिबंधित करने की तैयारी चरम पर है। रिपोर्ट के अनुसार, पाकिस्तान की मौजूदा सत्ता—प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ और सैन्य नेतृत्व— का मानना है कि इमरान खान ने कई राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़ी लाल रेखाएं लांघी हैं और देश के रणनीतिक हितों से समझौता किया है। क्यों बढ़ा इमरान खान पर देशद्रोह का खतरा? सूत्रों के मुताबिक, इमरान खान के खिलाफ कार्रवाई के पीछे कई बड़े कारण बताए जा रहे हैं— 1. संवेदनशील रणनीतिक जानकारी का जोखिम प्रधानमंत्री रहते हुए इमरान खान के पास परमाणु कार्यक्...
थाईलैंड–कंबोडिया सीमा पर युद्ध फिर भड़कासीमा से सवा लाख लोग बेघर, दो दिनों से जारी भारी गोलीबारी—10 की मौत, तनाव चरम पर
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थाईलैंड–कंबोडिया सीमा पर युद्ध फिर भड़कासीमा से सवा लाख लोग बेघर, दो दिनों से जारी भारी गोलीबारी—10 की मौत, तनाव चरम पर

बैंकॉक/नोम पेन्ह/नई दिल्ली।थाईलैंड और कंबोडिया के बीच महीनों से दबा हुआ तनाव एक बार फिर खुले युद्ध में बदल गया है। लगातार दो दिनों से सीमा पर भारी गोलीबारी जारी है, जिसमें अब तक दोनों देशों के कम से कम 10 लोगों की मौत हो गई है। वहीं हालात इतने बिगड़ चुके हैं कि 1.25 लाख से अधिक लोग अपने घरों को छोड़कर अस्थाई शेल्टरों में शरण लेने को मजबूर हो गए हैं। पिछली रात थाईलैंड की आर्टिलरी फायरिंग में कंबोडिया में 7 लोगों की मौत हुई, जबकि थाईलैंड में 3 मौतें दर्ज की गईं। थाई सेना ने अपने 3 जवानों के मारे जाने की आधिकारिक पुष्टि की है—एक 8 दिसंबर को और दो 9 दिसंबर को। इनमें से एक सैनिक की मौत सुरीन प्रांत में इनडायरेक्ट फायर से हुई, जबकि दूसरा प्राचीन प्रेह विहियर मंदिर के पास ग्रेनेड धमाके में मारा गया। 125,838 लोग शेल्टर होम में, सीमा से बड़े पैमाने पर पलायन थाई सेना ने संघर्ष प्रभावित क्षे...
ब्रेकिंग न्यूज़: जकार्ता की 7 मंजिला ऑफिस बिल्डिंग में भयावह आग, लंच ब्रेक के दौरान 20 लोगों की जलकर मौत
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ब्रेकिंग न्यूज़: जकार्ता की 7 मंजिला ऑफिस बिल्डिंग में भयावह आग, लंच ब्रेक के दौरान 20 लोगों की जलकर मौत

जकार्ता/नई दिल्ली।इंडोनेशिया की राजधानी जकार्ता मंगलवार दोपहर एक दिल दहला देने वाले हादसे की साक्षी बनी, जब शहर के व्यस्त कारोबारी इलाके में स्थित एक सात मंजिला ऑफिस बिल्डिंग में भीषण आग भड़क उठी। आग इतनी तेजी से फैली कि देखते ही देखते पूरी इमारत काले धुएं से घिर गई और अंदर मौजूद लोगों के लिए बाहर निकलना लगभग असंभव हो गया। हादसे में कम से कम 20 लोगों की मौत की पुष्टि हो चुकी है, जबकि कई अन्य के फंसे होने की आशंका जताई जा रही है। पहली मंजिल से शुरू हुई आग, मिनटों में पूरी बिल्डिंग चपेट में दमकल अधिकारियों के अनुसार आग बिल्डिंग की पहली मंजिल से लगी और तेज हवा के कारण कुछ ही मिनटों में ऊपर की मंजिलों तक फैल गई। हादसे के समय कई कर्मचारी ऑफिस में मौजूद थे और कुछ लोग लंच ब्रेक के दौरान खाना खा रहे थे। अचानक उठी तेज लपटों ने उन्हें बाहर निकलने का कोई मौका नहीं दिया। प्रत्यक्षदर्शियों ने ...
सीरिया के पतन की पूरी कहानी: दमिश्क में ‘सब खत्म’ कैसे हुआ?— एक प्रभावशाली समाचार लेख (प्रकाशन योग्य शैली में)
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सीरिया के पतन की पूरी कहानी: दमिश्क में ‘सब खत्म’ कैसे हुआ?— एक प्रभावशाली समाचार लेख (प्रकाशन योग्य शैली में)

दमिश्क/नई दिल्ली।सीरिया में बशर-अल-असद की सत्ता के पतन को पूरा एक वर्ष बीत चुका है, लेकिन आज भी मध्य-पूर्व की राजनीति में उस घटना की गूंज सुनाई देती है। राजधानी दमिश्क पर इस्लामिक विद्रोही समूहों का कब्ज़ा, ईरानी सेना की अचानक वापसी और असद का देश छोड़कर रूस भाग जाना—इन सभी घटनाओं ने मिलकर आधुनिक पश्चिम एशिया की तस्वीर पूरी तरह बदल दी। इस अवसर पर सोमवार को पूरे सीरिया में जश्न मनाया गया। दमिश्क में नए राष्ट्रपति और पूर्व अल-कायदा कमांडर अहमद अल-शरा ने भव्य सैन्य परेड की सलामी लेकर सत्ता परिवर्तन की पहली वर्षगांठ का औपचारिक उत्सव मनाया। पर सवाल यह है कि असद राज का ऐसा अंत कैसे हुआ? ईरानी समर्थन से शुरू हुआ सफर, ईरानी वापसी से हुआ अंत सीरियाई गृहयुद्ध की शुरुआत वर्ष 2011 में लोकतंत्र समर्थक प्रदर्शनों पर सरकारी दमन के बाद हुई। असद सरकार को बचाने के लिए ईरान ने भारी सैन्य और राजनीतिक ...
भारत-बांग्लादेश सीमा के पास पाकिस्तानी नेवी कमांडर का दौरा, मोहम्मद यूनुस ने किया स्वागत, भारत के लिए चिंता का विषय
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भारत-बांग्लादेश सीमा के पास पाकिस्तानी नेवी कमांडर का दौरा, मोहम्मद यूनुस ने किया स्वागत, भारत के लिए चिंता का विषय

ढाका: पाकिस्तान नौसेना के एक वरिष्ठ कमांडर ने हाल ही में बांग्लादेश का दौरा किया, जो दोनों देशों के संबंधों में नई चर्चा का कारण बन गया है। इस दौरे के दौरान, पाकिस्तानी सैन्य अधिकारियों को भारत-बांग्लादेश सीमा के नजदीक स्थित इलाकों में भी ले जाया गया, लेकिन बांग्लादेश सरकार ने इस दौरे को गुप्त रखा और इसके बारे में कोई जानकारी साझा नहीं की। इससे बांग्लादेश की मंशा पर सवाल उठ रहे हैं, विशेष रूप से ऐसे समय में जब भारत और बांग्लादेश के सुरक्षा प्रमुखों की बैठक हाल ही में नई दिल्ली में हुई थी। पाकिस्तानी नौसेना कमांडर का दौरा पाकिस्तानी नौसेना अकादमी के कमांडेट कमोडोर जिया उर रहमान और उनके साथ यात्रा कर रहे तीन अन्य अधिकारियों ने 6 दिसंबर को ढाका के हजरत शाह जलाल इंटरनेशनल एयरपोर्ट पर आगमन किया। इसके बाद, यह टीम सड़क मार्ग से चटगांव के लिए रवाना हो गई, जहां उन्हें बांग्लादेश स्पेशल ब्रांच...
पाकिस्‍तान-तुर्की समर्थक जमात-ए-इस्लामी के खिलाफ खुलकर आए खालिदा जिया के बेटे, लाखों बंगालियों का बताया हत्यारा, भारत के लिए गुड न्‍यूज
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पाकिस्‍तान-तुर्की समर्थक जमात-ए-इस्लामी के खिलाफ खुलकर आए खालिदा जिया के बेटे, लाखों बंगालियों का बताया हत्यारा, भारत के लिए गुड न्‍यूज

ढाका: बांग्लादेश नेशनलिस्ट पार्टी (BNP) के एक्टिंग चेयरमैन तारिक रहमान, जो बांग्लादेश की पूर्व प्रधानमंत्री बेगम खालिदा जिया के बेटे हैं, ने जमात-ए-इस्लामी पर तीखा हमला बोला है। उनके इस बयान ने पाकिस्तान और तुर्की समर्थक इस संगठन के खिलाफ एक मजबूत मोर्चा खड़ा किया है। तारिक ने जमात-ए-इस्लामी को 1971 में लाखों बेगुनाह बंगालियों की हत्याओं का दोषी ठहराया और संगठन के वर्तमान प्रचार को कड़ी आलोचना की। जमात-ए-इस्लामी पर हमला तारिक रहमान ने रविवार को ढाका में एक कार्यक्रम के दौरान कहा, "यह पार्टी (जमात-ए-इस्लामी) 1971 में अपने राजनीतिक लाभ के लिए लाखों बेगुनाह लोगों की हत्याएं करने में शामिल थी और महिलाओं के साथ भी शर्मनाक व्यवहार किया था।" उन्होंने यह भी कहा कि जमात-ए-इस्लामी के लोग अब झूठे वादे करके जनता को गुमराह करने का काम कर रहे हैं, जैसे कि "वोट के बदले जन्नत की गारंटी" देना। तार...