Tuesday, December 16

**छत्तीसगढ़ में पहली बार ISIS लिंक का खुलासा

रायपुर में ATS ने दो नाबालिगों को पकड़ा, इंस्टाग्राम पर रची जा रही थी साजिश**

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रायपुर: छत्तीसगढ़ की सुरक्षा एजेंसियों ने पहली बार राज्य में ISIS की ऑनलाइन सक्रियता का बड़ा खुलासा किया है। आतंकवाद निरोधक दस्ता (ATS) ने रायपुर से दो नाबालिग लड़कों को हिरासत में लिया है, जो कथित तौर पर पाकिस्तान स्थित ISIS मॉड्यूल के निर्देशों पर फर्जी सोशल मीडिया आईडी के माध्यम से काम कर रहे थे।

उपमुख्यमंत्री एवं गृह मंत्री विजय शर्मा ने बताया कि यह कार्रवाई गहन साइबर जांच के बाद की गई है, और दोनों किशोर लंबे समय से चरमपंथी सामग्री से प्रभावित होकर इंस्टाग्राम पर अन्य युवाओं को भी प्रभावित करने की कोशिश कर रहे थे।

फर्जी आईडी से चल रहा था ISIS का नेटवर्क

ATS की प्रारंभिक जांच में सामने आया है कि दोनों नाबालिगों को पाकिस्तान से संचालित एक आईएसआईएस मॉड्यूल द्वारा

  • इंस्टाग्राम ग्रुप चैट में जोड़ा गया था
  • व्यवस्थित रूप से कट्टरपंथी बनाया गया
  • हिंसक और चरमपंथी सामग्री को प्रचारित करने के लिए उकसाया गया

पुलिस के अनुसार, पाकिस्तान में बैठे हैंडलर भारतीय युवाओं को निशाना बनाकर साइबरस्पेस के माध्यम से भारत की आंतरिक सुरक्षा को प्रभावित करने की साज़िश रच रहे थे।

छत्तीसगढ़ में ISIS मॉड्यूल खड़ा करने की कोशिश

तकनीकी जांच में यह भी सामने आया कि नाबालिगों को छत्तीसगढ़ में आईएसआईएस मॉड्यूल खड़ा करने के लिए प्रेरित किया जा रहा था।
एटीएस की निरंतर साइबर मॉनिटरिंग और तकनीकी साक्ष्यों के आधार पर दोनों किशोरों की पहचान की गई और उन्हें हिरासत में ले लिया गया।

दोनों के खिलाफ गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम, 1967—UAPA के तहत कार्रवाई की गई है। यह राज्य में ISIS से जुड़ा पहला मामला माना जा रहा है।

एटीएस टीम को किया जाएगा और मज़बूत

उपमुख्यमंत्री शर्मा ने बताया कि पूरे राज्य में ऐसे मामलों का पता लगाने और रोकथाम के लिए ATS का विस्तार किया जाएगा। उन्होंने मुख्यमंत्री से भी दस्ता मजबूत करने के लिए अतिरिक्त संसाधन उपलब्ध कराने का अनुरोध किया है।

सोशल मीडिया सतर्कता की अपील

शर्मा ने नागरिकों से अपील की—

“अगर कोई भी सोशल मीडिया हैंडल राष्ट्र-विरोधी या चरमपंथी सामग्री फैला रहा हो, तो तुरंत पुलिस को सूचना दें।”

जांच आगे बढ़ी, और भी खुलासों की आशंका

सूत्रों के मुताबिक, ATS को दोनों नाबालिगों से कई अहम डिजिटल सुराग मिले हैं।
माना जा रहा है कि आने वाले दिनों में इस नेटवर्क से जुड़े अन्य व्यक्तियों तक भी एजेंसियां पहुंच सकती हैं

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